Kismis ke fayde- सुबह खाली पेट भीगे किशमिश खाने के स्वास्थ्य लाभ

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Kismis ke fayde – सुबह खाली पेट भीगे किशमिश खाने के स्वास्थ्य लाभ

लोग किशमिश (सुबह खाली पेट किशमिश खाने के फायदे) (Kismis ke fayde)को मेवा के रूप में प्रसाद के तौर पर ही खाते है या फिर कुछ लोग स्वाद के लिए भी खाते हैं।आपने भी देखा होगा कि लोग किशमिश को भिगोकर उसका पानी पीते है और किशिमिश को सुबह खाली पेट खा लेते है

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आज कल की व्यस्त लाइफ के चलते हर कोई किसी ना किसी बीमारी से पीड़ित रहता है।

Kismis benifits

pahle आज हम बात करेंगे किशमिश के बारे में आपको लगता होगा किशमिश बनाना आसान है या मुश्किल या किशमिश कहीं पेड़ पर लगती है यह कोई फाइल है ऐसे मशीन से बनाया जाता है इसके बारे में पूरी जानकारी |

आज हम इस ब्लॉग में पड़ेंगे चाहे चलिए सबसे पहले शुरुआत करते हैं किशमिश के बारे में जानकर

किशमिश बनाने की विधि

सबसे पहले आप अंगूरों को अच्छे से साफ पानी से धो लीजिए अंगूर साफ हो जाने के बाद हम उसे उबालने के लिए रखेंगे ऐसे अगर आप 1 किलो अंगूर की कृष्ण जब आना चाहते हैं |

तो आपको चार से पांच गिलास पानी की जरूरत होगी और अगर आप आधा किलो अंगूर का किशमिश बनाना चाहते हैं तो आपको लगभग उसका आधा पानी ले लेना पड़ेगा

उबलते हुए पानी में अंगूरों को डालने के बाद जैसे ही अंगूर पकने लगेगा ऊपर तैरना शुरू हो जाएगा और उसकी परत कुछ चटकने लगेगी और वह फूटने लगेगा |

पानी में अब आप अंगूरों को अलग कर लीजिए छलनी से छान लीजिए और उनको एक सूखे कपड़े में रख दीजिए थोड़ी देर के लिए और अब इन अंगूरों को आप धूप में रख सकते हैं |

अगर सर्दियों की बात है तो उसे 4 से 5 दिन धूप में रखना पड़ेगा गर्मियों में वही 1 से 2 दिन में यह किसमिस बनकर तैयार हो जाएंगे

किशमिश कितने प्रकार की होती है?

किशमिश कई प्रकार की होती हैं, जिनमें से मुख्य तीन को हम नीचे बता रहे हैं (3) –

भूरी किशमिश – यह किशमिश अंगूरों को तीन हफ्तों तक सुखाकर बनाई जाती है। सूखने के बाद इनका रंग भूरा हो सकता है। अलग-अलग जगहों पर इसे बनाने के लिए विभिन्न तरह के अंगूरों का इस्तेमाल किया जाता है। इनका रंग, आकार और स्वाद अंगूर के प्रकार पर निर्भर करता है।

सुल्ताना (गोल्डन किशमिश) – यह किशमिश सुल्ताना अंगूर (बीज रहित हरे गोल अंगूर) को सुखाकर बनाई जाती है।

इस प्रकार की किशमिश को बनाने के लिए सुखाने से पहले अंगूर को एक तरह के तैलीय सलूशन में भिगोया जाता है।

इस कारण इस किशमिश का रंग गोल्डन/हल्का भूरा होता है।

बाकी दो किशमिश की तुलना में इस किशमिश का आकार अक्सर छोटा और स्वाद मीठा होता है।

करंट (काली किशमिश) – इस प्रकार की किशमिश को जांटे करंट भी कहा जाता है और इन्हें काले अंगूर से बनाया जाता है।

इन्हें भी अंगूर को तीन हफ्तों तक सुखाकर बनाया जाता है। इनका स्वाद अक्सर खट्टा-मीठा और आकर छोटा होता है।

अन्य अंगूर की तरह ब्लैक किशमिश खाने का फायदा क्या है, इस बारे में आगे विस्तार से बताया गया है।

किशमिश के फायदे – Benefits of Raisins in Hindi

जितनी लोगों को सुविधाएं मिल रही हैं उससे कई गुना ज्यादा नई-नई बीमारियां होती जा रही हैं।

वहीं कुछ बड़ी बीमारियों में किशमिश (Kismis) के फायदे भी देखे गये।

जब आपको भी इसके इतने बड़े फायदे के बारे में पता चलेगा तो आप भी चौंक जायेंगे।

शायद आप नहीं जानते होंगे कि किशमिश (kismis ke fayde) बड़ी बीमारियों में बहुत फायदेमंद दवा साबित हुई है।

बाजारों में चल रही आर्टिफिशियल चीजों से हर कोई पेट की पीड़ा से परेशान रहता है।

कब्ज और पाचन संबंधी समस्याओं के लिए कई लोग किशमिश का पानी पीते हैं वहीं किशमिश वजन बढ़ाने में भी काफी लाभकारी है।

किशमिश (Kismis ke fayde) खाने के फायदों के बारे में तो आपने अक्सर सुना ही होगा,

लेकिन क्या आप जानते हैं कि किशमिश का पानी पीने से भी आपको हैरान करने वाले फायदे हो सकते हैं? नहीं न।

आज हम आपको किशमिश का पानी पीने से होने वाले फायदों के बारे में अवगत करा रहे हैं।

Benefit of raisins (Kismis) or किशमिश खाने के फायदे क्या है?

किशमिश (Kismis) का पानी लीवर में बायोकैमिकल प्रोसेस शुरु करता है, जिससे खून तेजी साफ से होने लगता है।

अगर आप इस  ट्रीटमेंट को 4 दिनों तक लगातार करेंगे,

तो आप पाएंगे कि आपका पेट बिल्कुलल ठीक हो चुका होगा और आपके अंदर ढेर  सारी एनर्जी भर गई होगी।

डॉक्टर अक्सभर लोंगो को रोजाना किशमिश (Kismis) सेवन करने की हिदायत देते हैं

क्यों कि इससे हृदय मजबूत बना रहता है और खराब कोलेस्ट्रॉ ल दूर होता है तथा कब्ज और पेट की अन्ये बीमारी भी छूमंतर हो जाती है

किशमिश (Kismis) का पानी खून को साफ, लीवर जिगर के काम को बढ़ावा देने और पाचन बेहतर बनाए रखने में मदद करता है

यह पेट के एसिड को कम करने में मदद करता है।

इसे पीने के दो दिन बाद ही आपको पता चल जाएगा कि आपका खाना  कितने आराम से हजम हो रहा है

और कब्जे तथा अपच का नामोनिशान भी नहीं है।

Kismis ke fayde

किशमिश (Kismis) का पानी तैयार करने के लिए सामग्री :-

2 कप – पानी (400 ml)

150 ग्राम – किशमिश

किशमिश (Kismis) का पानी तैयार करने की विधि :-

इस पानी के तैयार करने के लिए ऐसी किशमिश (Kismis) का प्रयोग न करें जो देखने में काफी चमकीली हों, क्योंकि वो प्राकृतिक नहीं है बल्किे उनमें कैमिकल द्वरा चमकिला बनाया गया होता है।

आपको ऐसी किशमिश ( kismis ke fayde ke lea) लेनी चाहिये जो गहरे रंग की हो और ना तो ज्यादा कठोर और ना ही लचीली हो। उसके बाद किशमिश को अच्छे से धो लें और किनारे रखें।

फिर पैन में दो कप पानी उबाल लें। फिर उसमें धुली हुई किशमिश डाल कर रातभर के लिये छोड़ दें।

सुबह खाली पेट किशमिश खाने के फायदे

अगली सुबह किशमिश (Kismis) छान कर पानी को पीने लायक गरम करें और इसे खाली पेट पिएं।

किशमिश का पानी पीने के बाद 30 से 35 मिनट तक इंतजार करें और फिर नाश्ता करें।

याद रखें कि इस विधि को 4 दिनों तक रोजाना करना है।

साथ ही इसको हर महीने करें। बता दें कि इसका कोई भी खराब प्रभाव नहीं होता है।

अगर आप डाइट पर हैं और अपने आहार में लो फैट और ढेर सारे फल तथा सब्जिभयों को शामिल करते हैं,

तो इस पानी को पीने से आपको और भी ज्या दा लाभ मिलेगा।

पानी पीने से कोलेस्ट्रॉल लेवल नॉर्मल रहता है और शरीर में ट्राईग्लिसेराइड्स को कंट्रोल करने में सहायक होता है।

किशमिश (Kismis) अंगूर ही होता है जिसे सुखाकर किशमिश बनाया जाता है।

kismis विटामिन्स और एनर्जी का भंडार है इसलिए जितनी अंगूर में एनर्जी होती है उतनी ही किशमिश में होती है।

किशमिश में मौजूद पौष्टिक तत्व – Raisins Nutrition Facts in Hindi [kismis ke fayde]

शुगर और कैलोरी

एक-आधा कप किशमिश में लगभग 218 कैलोरी और 47 ग्राम शुगर होती है।

दूसरे शब्दों में कहें तो किशमिश के वज़न का 67% से 72% शुगर होता है।

यही कारण है कि किशमिश को लो-कैलोरी व लो-शुगर की श्रेणी में नहीं रखा जा सकता।

किसी भी ड्राई फ्रूट में इतनी उच्च मात्रा में कैलोरी और शुगर होना सामान्य बात नहीं है।

इसके चलते इसमें कोई दोराय नहीं है कि किशमिश को ‘प्रकृति की कैंडी’, यानी नेचर्स कैंडी क्यों कहा जाता है।

फाइबर

आपकी उम्र और जेंडर के आधार पर एक-आधा कप किशमिश आपको 3.3 ग्राम फाइबर या आपकी दैनिक जरूरतों का लगभग 10 से 24 प्रतिशत हिस्सा फाइबर देगी।

फाइबर पाचन क्रिया को संतुलित कर कब्ज की समस्या से छुटकारा दिलाता है।

इसके अलावा किशमिश में मौजूद फाइबर पेट को भरा रखने में भी मददगार है,

इसलिए अगर आप वज़न कम करने की कोशिश कर रहे हैं तो किशमिश का सेवन लाभदायक है।

आयरन

किशमिश आयरन का अच्छा स्रोत है। डेढ़ कप किशमिश में 1.3 मिलीग्राम आयरन होता है।

आयरन लाल रक्त कोशिकाओं को बनाने और उन्हें आपके शरीर की कोशिकाओं तक ऑक्सीजन ले जाने में मदद करने के लिए महत्वपूर्ण है।

शरीर में आयरन की कमी से होने वाले एनीमिया को रोकने के लिए आपको पर्याप्त मात्रा में किशमिश खाने की आवश्यकता होती है।

कैल्शियम

आधा कप किशमिश में लगभग 45 मिलीग्राम कैल्शियम होता है। hum आपकी दैनिक जरूरतों के लगभग 4 प्रतिशत के बराबर होता है।

कैल्शियम स्वस्थ और मजबूत हड्डियों और दांतों के लिए आवश्यक है।

यदि आपके पीरियड्स आना बंद हो चुके हैं तो किशमिश आपके लिए एक बहुत अच्छा स्नैक है,

क्योंकि कैल्शियम ऑस्टियोपोरोसिस के विकास को रोकने में मदद करता है, जो हड्डियों को नुकसान पहुंचाने के कारणों में से एक है। 

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